अमेरीकियों के रोजी रोटी की चिंता में हिन्दुस्तान को बेवकूफ बनाने आ रहे है ओबामा

मौलाना  कल्बे जवाद का ऐलान  शुक्रवार को नमाज़ के बाद जलेगा ओबामा का पुतला,अमेरिका का झंडा  


हिन्दुस्तान को बेवकूफ बनाने के लिए बेताब  
तहलका टुडे टीम 
नयी दिल्ली :राष्ट्रपति बराक ओबामा की भारत यात्रा अमेरिकी नागरिकों के रोजी-रोजगार को लेकर हो रही है वो हिन्दुस्तानियो को बेवकूफ बनाकर अपने देश की  लुटेरी कम्पनी के जाल में फसाना चहेते है, भारत में उनके स्वागत की तय्यरिया पूरी हो रही है,वही दूसरी तरफ मुसलमानों की संस्थाओ की तरफ से शुक्रवार को ओबामा का पुतला और झंडा जला कर स्वागत का एलन किया गया है जिससे खुफिया अगेंसियो में हडकंप मच गया है 
आज वाशिंगटन  में राष्ट्रपति बराक ओबामा ने  दिया कि वह अमरीकी कंपनियों को आउटसोर्सिग के प्रति हतोत्साहित करने की नीति से जुड़ी भारत की चिंताओं का निराकरण शायद ही करें क्योंकि उन्हें इस समय की ज्यादा चिंता है।
ओबामा ने भारत यात्रा के ठीक पहले विशेष बातचीत में कहा, 'राष्ट्रपति होने के नाते अमेरिकी नागरिकों के लिए रोजी रोजगार के अवसर जुटाना मेरी जिम्मेदारी बनती है। और मैं मानता हूं कि अमेरिका और भारत के बीच आर्थिक संबंध दोनों देशों के लिए लाभकर होना चाहिए।' राष्ट्रपति से सवाल किया गया था कि क्या वह आउटसोर्सिग संबंधी अपनी नीति के खिलाफ भारत की चिंताओं का कुछ ध्यान रखेंगे क्यों कि भारत में इसे अड़चन पैदा करने वाली नीति माना जा रहा है।
ओबामा ने कहा कि उनका प्रशासन 'अमेरिकी अर्थव्यवस्था में सुधार, अमेरिका के भविष्य में निवेश, रोजगार संरक्षण, निर्यात बढ़ाने के उपायों और कारोबार के लिए अनुकूल माहौल तैयार करने पर ध्यान केंद्रित कर रहा है।'
उन्होंने हाल ही में अमेरिका के रोजगार के अवसरों को भारत जैसे देशों को दिए जाने के खिलाफ बोला था। राष्ट्रपति ने आउटसोर्सिग को हतोत्साहित करने के लिए यह घोषणा भी की है कि अमेरिका में रोजगार पैदा करने वाली कंपनियों को कर-राहत दी जाएगी।
भारत में अमेरिकी कंपनियों को कारोबार के लिए मुक्त प्रवेश दिए जाने की वकालत करते हुए राष्ट्रपति ने कहा, 'हमारा बाजार विश्वभर के उत्पादों एवं सेवाओं के लिए खुला है। हम मानते हैं कि भारत सहित अन्य देशों को भी ऐसा करना चाहिए। अमेरिकी कंपनियों को अपने बाजारों में इसी तरह की पहुंच की सुविधा देनी चाहिए।'
ओबामा ने इस संदर्भ में किसी विशेष क्षेत्र का नाम नहीं लिया, लेकिन कहा कि अमेरिकी कंपनियों को वित्तीय एवं खुदरा क्षेत्रों में अधिक पहुंच की सुविधा दी जानी चाहिए।
उन्होंने कहा कि अमेरिकी ने यह महसूस किया है कि उसकी अर्थव्यवस्था बिना अन्य देशों के विकास के सुधार के पथ पर नहीं आ सकती।
ओबामा ने बुधवार को अपने दोस्त प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह को विलक्षण नेताओं में से एक बताया और कहा कि वह भारतीय नेता की मित्रता, समझदारी और सौम्यता का बेहद सम्मान करते हैं।
करीब 20 माह पहले लंदन में अपनी पहली मुलाकात के बाद से दोनों नेता कई बार मिल चुके हैं। ओबामा से उनकी सिंह के साथ मित्रता के बारे में सवाल किया गया था जिनसे वह नई दिल्ली में अगले सोमवार को एक बार फिर मिलने वाले हैं।
ओबामा ने कहा, 'लंदन में हमारी पहली मुलाकात में ही, मैंने पाया कि प्रधानमंत्री और मैं अपनी जनता के कल्याण के संदर्भ में बहुत से साझा मूल्यों, समान लक्ष्यों और समान दृष्टिकोण में आस्था रखते हैं।'
उन्होंने कहा कि वह और उनकी पत्नी मिशेल ओबामा दोनों ही भारत जाने को लेकर उत्साहित हैं। उन्होंने कहा, 'मेरी भारत यात्रा में सबसे खुशी की बात यह है कि मुझे मनमोहन सिंह से फिर से मिलने का मौका मिलेगा।'
ओबामा ने कहा, 'मिशेल और मुझे, प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह तथा उनकी सुसंस्कारी धर्मपत्नी [गुरशरण कौर] के सम्मान में पहले राजकीय रात्रिभोज [एक साल पहले] की मेजबानी कर बहुत प्रसन्नता हुई थी।'
ओबामा ने अपनी भारत यात्रा की पूर्व संध्या पर पाकिस्तान से मुंबई आतंकी हमले के लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ 'पारदर्शी, पूरी तरह तथा अविलंब' कार्रवाई करने पर भी जोर दिया है।
पाकिस्तान की धरती से पैदा हो रहे आतंकवाद से निपटने में अमेरिका द्वारा पाक पर 'पर्याप्त दबाव' नहीं बनाने को लेकर हो रही आलोचनाओं का जवाब देते हुए ओबामा ने कहा कि अमेरिका ने हर मौके पर पाकिस्तान को यह स्पष्ट किया है कि 'सभी प्रकार के हिंसक चरमपंथ का मुकाबला करना उसके अपने और क्षेत्रीय स्थिरता के हित में है।
वही दूसरी तरफ इराक,अफगानिस्तान,में अवम के ऊपर किये गए ज़ुल्म के विरोध में आज लखनऊ में मौलाना कल्बे जवाद नकवी ने यह एलन किया की शुक्रवार को जुमे की नमाज़ के बाद ओबामा का पुतला और अमेरिका का झंडा फूँका जायेंगा ,हर जिले में पर्दर्शन होगा, इस ऐलान से ख़ुफ़िया विभाग की नींद उढ गयी  है.

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